आज का युग कंप्यूटर युग है
आज जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में कंप्यूटर समावेश है वृहत् पैमाने पर गणना करने वाले इलेक्ट्रोनिक संयंत्र को
संगक अथवा कंप्यूटर कहते है वृहत् कंप्यूटर वह युक्ति है, जिसके द्वारा स्वचालित रूप
से विविध प्रकार के आंकड़ो को संसाधित एंव संचयित किया जाता है वर्तमान स्वरूप का
पहला कंप्यूटर मार्क-1 था, जो 1937 ई० में बना था !
Ø कंप्यूटर के कार्य:- कंप्यूटर के प्रमुख तकनिकी कार्य चार प्रकार है—(1) आंकड़ो का संकलन या निवेशन,
(2) आंकड़ो का संचयन, (3) अनाक्दो का संसाधन और दृश्य रेखंडित या यांत्रिक चेष्टाओ
के रूप में हो सकते है,
Ø हार्डवेयर (Hardware):- कंप्यूटर और उससे संलग्न सभी यंत्रो और उपकरणों को हार्डवेयर कहा
जाता है इसके अंतर्गत केन्द्रीय संसाधन एकक, आतंरिक स्मृति, बाहा स्मृति, निवेश
एंव निर्गत एकक आदि आते है,
Ø सॉफ्टवेर (Software):- कंप्यूटर के लिए निर्मित प्रोग्रामो को सॉफ्टवेर कहा जाता है
Ø कंप्यूटर की भाषाएँ (Language Of Computer):- कंप्यूटर की भाषा को निम्न तिन वर्गों में बाँटा जा सकता
है, (1) मशीनी कूट भाषा (Machine Code Language) (2) एसेम्बली कूट भाषा (Assembly
Code Language) (3) उच्च स्तरीय भाषाएँ (High Level Language),
i.
मशीनी कूट भाषा (Machine
Code Language):- इस भाषा में प्रत्येक आदेश
के दो भाग होते है – आदेश कोड (Operation Code) तथा स्थिति कोड (Lucation Code) इन दोनों को 0 और 1 के क्रम में समुहित कर
व्यक्त किया जाता है , कंप्यूटर के आरंभिक दिनों में प्रोग्रामरो द्वारा
कंप्यूटर को आदेश देने के लिए 0 तथा 1 के विभिन्न क्रमों का ही प्रयोग किया जाता
है, यह भाषा समयग्राही थी, जिसके कारन एसेम्बली एंव उच्च स्तरीय भाषाओ का प्रयोग
किया जाने लगा,
ii.
एसेम्बली भाषा ( Assembly
Language):- इस भाषा में यद् रखे जाने
लायक कोड को प्रयोग किया गया, जिसे नेमोनिक कोड कहा गया, जैसे ADDITION के लिए ADD, SUBSTRACTION के लिए SUB एंव JUMP के लिए JMP लिखा गया, अतः इन भाषाओ को निम्न स्तरीय भाषा
कहा गया,
iii.
उच्चस्तरीय भाषाएँ (High Level
Languages):- उच्चस्तरीय भाषाओ के
विकास का श्रेय IBM कम्पनी को जाता है, फारट्रन (FORTRAN) नामक पहली उच्चस्तरीय
भाषा का विकास इसी कम्पनी के प्रयास से हुआ, इसके बाद सैकड़ो उच्चस्तरीय भाषाओ का
विकास हुआ, ये भाषाएँ मनुष्य के बोलचाल और लिखने में प्रयुक्त होने वाली भाषाओ के
काफी करीब है, कुछ उच्चस्तरीय भाषायें निम्न है—
a.
फारट्रन (FORTRAN):-
कंप्यूटर कि इस भाषा का विकास IBM के सैजन्य से
जे० डब्ल्यू बेकस ने 1957 ई० में किया था, इस भषा का विकास गणितीय सूत्रों को आसानी
से और कम समय में हल करने के लिए किया गया था,
b.
कोबोल (COBOL):- कोबोल वास्तव में कॉमन ब्युजिनेस आरियेन्टेड लैंग्वेज का
संक्षिप्त रूप है , इस भाषा का विकास व्युसायिक हितों के लिय किया गया, इस भाषा कि
संक्रिया के लिय लिखे गए वाक्यों के समूह को पैराग्राफ कहते है , सभी पैराग्राफ
मिलकर एक सेक्शन बनाते है और सेक्शनो से मिलकर डिविजन बनता है
c.
बेसिक (BASIC):- यह अंग्रेजी के शब्दों बिगनर्स आल पर्पस सिम्बालिक
इंस्ट्रक्शन कोड का संक्षिप्त रूपांतर है इस भाषा में प्रोग्राम में निहित आदेश के
किसी निश्चित भाग को निष्पादित किया जा सकता है, जबकि इससे पहले कि भाषाओ में पुरे
प्रोग्राम को कंप्यूटर में डालना होता था और प्रोगरा के ठीक होने पर आगे के कार्य
निष्पादित होते थे,
d.
अल्गोल (ALGOL):- यह अंग्रेजी के अल्गोरिबमक लैंग्वेज का संक्षिप्त रूप है
इसका निर्माण जटिल बीजगणितीय गणनाओ में प्रयोग हेतु बनाया गया था,
e.
पास्कल (PASCAL):- यह अल्गोल का परिवर्द्धित रूप है , इसमें सभी चारो को
परिभषित किया गया है , जिसके कारन यह अल्गोल एंव बेसिक से भिन्न है,
f.
लोगो (Logo):- इस भषा का प्रयोग छोटी उम्र के बच्चों को ग्राफिक रेख्नुक्रितियो कि शिक्षा देने के
लिय किया जाता है,
g.
प्रोलाग (PROLOG):- यह अंग्रेजी शब्द प्रोग्रामिंग इन लॉजिक का संक्षिप्त रूप
है , इस भाषा का विकास 1973 ई०में फ़्रांस में किया गया था, इसका विकास कृत्रिम बुद्दि
के कार्यों के लिय किया गया है, जो तार्किक प्रोग्रामिंग में सक्षम है,
h.
फोर्थ (FORTH):- इस भाषा का अविष्कार चालर्स मुरे ने किया था, इसका उपयोग
कंप्यूटर के सभी प्रकार के कार्यो में होता है इन सभी उच्च स्तरीय भाषाओ में एक
समानता हैकि लगभग सभी में अंग्रेजी के वर्णों (A, B, C, D,….आदि) एंव इंडो-अरेबियन अंको
(1, 2, 3,.....आदि) का प्रयोग किया जाता है!
उदाहरण:- PILOT, C, C++, LISP, UNIX, एंव SNOBOL कुछ अन्य उच्च
स्तरीय भषा है!
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